आध्यात्मिक चेतना से ओत-प्रोत महर्षि भृगु की भूमि बलिया शिक्षा की दृष्टि से समृद्ध हो रहा है। यहां परिषदीय विद्यालयों की संख्या 2246 है। इसमें 2175 विद्यालयों में आपरेशन कायाकल्प के तहत 19 तरह की सुविधाएं उपलब्ध कराई गईं हैं। ये विद्यालय अब कान्वेंट की तरह सज गए हैं। जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय भी नया आयाम गढ़ रहा है। प्रदेश सरकार ने इसके विकास के लिए 92.39 करोड़ रुपये स्वीकृत किया है। इससे विश्वविद्यालय में भवन का निर्माण हो रहा है। विश्वविद्यालय ने छह अन्य विश्वविद्यालयों एवं संस्थानों से एमओयू साइन किया है।
बलिया : उच्च शिक्षा में जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय में एक लाख विद्यार्थी अध्ययनरत हैं। विश्वविद्यालय ने डा. राजेन्द्र प्रसाद केन्द्रीय कृषि विश्वविद्यालय पूसा समस्तीपुर बिहार के साथ एमओयू (समझौता ज्ञापन) साइन किया है। इससे किसानों, महिलाओं एवं मत्स्य व्यवसाय में जुड़े लोगों के कौशल में वृद्धि हेतु प्रशिक्षण की व्यवस्था की जा रही है। विश्वविद्यालय में कृषि एवं वाणिज्य आधारित पाठ्यक्रमों को वरीयता प्रदान की गई है। पांच वर्ष से भी कम अवधि में विश्वविद्यालय एवं इससे संबद्ध महाविद्यालयों में स्नातक स्तर पर बीएससी, बीएससी (कृषि), बीकाम, बीए, बीसीए, बीएएस आयुर्वेद, स्नातकोत्तर स्तर पर विज्ञान, कृषि विज्ञान जीवविज्ञान, कला, मानविकी आदि पाठ्यक्रम तथा व्यावसायिक पाठ्यक्रम के अंतर्गत एमएड, बीएड, वीपीएड, त्रिवर्षीय एलएसपी आदि पाठ्यक्रम में अध्ययन की सुविधा उपलब्ध है। इसके अतिरिक्त विश्वविद्यालय परिसर में इस सत्र से पांच पीजी डिप्लोमा भी आरम्भ गए हैं। विश्वविद्यालय में छह स्नातकोत्तर एक वर्षीय डिप्लोमा के अंतर्गत कंप्यूटर एप्लिकेशन, पर्ल कल्चर, पर्यावरण एवं आतिथ्य प्रबंधन, योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा, पत्रकारिता एवं जन सम्प्रेषण पाठ्यक्रमों की व्यवस्था है।
10 कस्तूरबा गांधी विद्यालय बनेंगे इंटर कालेज
ग्रामीण परिवेश की बेटियां भी उच्च शिक्षा प्राप्त कर अपना भविष्य संवारेंगी। वजह, शिक्षा विभाग के कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों में छात्राएं रह कर इंटर तक की पढ़ाई करेंगी। जनपद के 10 कस्तूरबा गांधी विद्यालयों को इंटर कालेज के रूप में अपग्रेड किया जा रहा है। निर्माण अब पूर्ण हो चुका है। कार्यदायी संस्था की ओर से अब हैंडओवर की तैयारी चल रही है। शासन से इंटर तक की पढ़ाई के लिए कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय में ही व्यवस्था की जा रही है।
40 करोड़ से चमकेंगे 32 राजकीय विद्यालय
जनपद के 32 राजकीय विद्यालय हर तरह के संसाधन से संतृप्त होंगे। सुविधाओं पर 40 करोड़ रुपये खर्च होंगे। प्रोजेक्ट अलंकार से विद्यालयों का कायाकल्प होगा। आवास विकास परिषद आजमगढ़ सभी विद्यालयों में कार्य कराएगा। डीपीआर तैयार कर दिया गया है। इसके अलावा 91 अशासकीय सहायता प्राप्त माध्यमिक विद्यालयों के जीर्णोद्धार में आधी धनराशि प्रबंधक को देनी होगी, जबकि राजकीय विद्यालयों का जीर्णोद्धार सरकार की ओर से कराया जाएगा। सभी विद्यालयों के लिए 352 इंडिकेटर तय गए हैं, जिस पर कार्य हाेना है।
नई शिक्षा नीति के जरिए कौशल विकास पर जोर
राष्ट्रीय शिक्षा नीति, 2020 के अनुरूप जनपद भर में शिक्षा व्यवस्था लागू कर दी गई है। इस नीति का उद्देश्य वर्तमान समय की चुनौतियों के हिसाब से युवा नागरिकों को तैयार करना है। यह शिक्षा नीति विद्यार्थियों के व्यक्तित्व का समग्र विकास एवं उनके भीतर कौशल का विकास करना चाहती है। इसी को ध्यान में रखकर पाठ्यक्रम को लचीला बनाया गया है। परंपरागत पाठ्यक्रम के अलावा व्यावसायिक पाठ्यक्रमों को भी पठन-पाठन में शामिल किया गया है। विद्यार्थियों के कौशल विकास पर ज्यादा जोर है।
प्रो. संजीत कुमार गुप्ता, कुलपति, जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय।
प्राथमिक शिक्षा में आया बड़ा बदलाव
प्राथमिक शिक्षा में काफी बदलाव आया है। 96.84 प्रतिशत विद्यालयों का आपरेशन कायाकल्प के तहत कार्य हुआ है। निपुण मूल्यांकन परीक्षा में 200924 बच्चों में 56938 विद्यार्थियों को ए प्लस ग्रेड मिला है। विद्यालयों में सुविधाएं बढने से बच्चों की उपस्थिति भी बढ़ी है। नव वर्ष में औश्र भी कई बदलाव किए जाएंगे।
मनीष कुमार सिंह, बीएसए।
सभी विद्यालयों में उपलब्ध होंगी मूलभूत सुविधाएं
माध्यमिक शिक्षा परिषद की ओर से प्रोजेक्ट अलंकार के तहत 32 राजकीय विद्यालयों में 40 करोड़ की लागत से मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराने की दिशा में काम चल रहा है। शिक्षकों की कमी को भी पूर्ण किया जा रहा है। नए वर्ष में अशासकीय सहायता प्राप्त विद्यालयों में भी कई बदलाव किए जाने हैं। नव निर्मित पांच नए राजकीय इंटर कालेजों में भी नए वर्ष से पढा़ई शुरू हो जाएगी।
रमेश सिंह, डीआइओएस।