शिक्षा क्षेत्र बांसडीह के प्राथमिक विद्यालय जैदोपुर की घटना। अधिकारियों ने दिया जांच कर कड़ी कार्रवाई का आश्वासन। खंड शिक्षा अधिकारी बांसडीह की जांच रिपोर्ट मिलने के बाद बेसिक शिक्षा अधिकारी शिव नारायण सिंह ने प्रधानाध्यापक शिव कुमारी यादव को निलंबित कर दिया है। रिपोर्ट में बताया गया है कि बुधवार को कुल नामांकित 80 बच्चों के सापेक्ष 34 बच्चे आए थे।
बलिया : शिक्षा क्षेत्र बांसडीह के प्राथमिक विद्यालय जैदोपुर में एमडीएम (मिड डे मील) खाने के बाद कक्षा एक की छात्रा अचेत हो गई। बाद में उसकी मौत होने पर विद्यालय परिसर में परिजनों ने जमकर हंगामा किया। शिक्षा विभाग से लेकर प्रशासनिक अधिकारी मौके पर पहुंचे। जनता का आक्रोश कम होने का नाम नहीं ले रहा था। बताते हैं कि गुंजन (6) पुत्री जीवन राम बुधवार को ड्रेस पहनकर विद्यालय पहुंची थी। उसने एमडीएम में बनी खिचड़ी खायी और वह अचेत हो गई। बच्चों ने पास में बैठे अध्यापक को बताया तो उसे उपचार के लिए कहीं ले जाने के बजाय परिवार की एक लड़की से उसे घर लेकर जाने को कहा। वह छात्रा को लेकर आगे बढ़ी ही थी, तब तक परिजन पहुंच गए। छात्रा को लेकर वे अचेत हाल में सीएचसी सहतवार पंहुचे, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। फिर आक्रोशित परिजन रोते बिलखते शव लेकर वापस विद्यालय पंहुचे और वहीं शव को रखकर विलाप करने लगे। यह सुन कुछ ही देर में ही काफी संख्या में ग्रामीणों की भीड़ वहां जुट गई।
अध्यापकों के फोन पर पहुंचे अधिकारी
विद्यालय में माहौल बिगड़ते देख अध्यापकों ने अधिकारियों को फोन मिलाना शुरू कर दिया। इसके कुछ ही देर बाद मौके पर एसडीएम बांसडीह दुष्यंत मौर्य, बेसिक शिक्षा अधिकारी शिवनारायण, एसडीआई बंशीधर श्रीवास्तव, एमडीएम के जिला प्रभारी अजित पाठक पुलिस समेत प्रशासनिक अमला मौके पर पंहुच गया।
खाद्य पदार्थ के नमूने लेने पहुंची टीम
एसडीआई बंशीधर श्रीवास्तव ने एमडीएम की जांच की। एसडीएम बांसडीह के बुलाने पर खाद्य विभाग की टीम भी एमडीएम की जांच के लिए नमूने एकत्र करने पहुंची। विलाप कर रहे परिजनों को आश्वासन देकर समझाने के बाद थानाध्यक्ष बांसडीह रोड ने छात्रा के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
बोले अधिकारी
इसमें जिन लोगों की लापरवाही होगी, कड़ी कार्रवाई की जाएगी। खाद्य पदार्थ की टीम ने भी एमडीएम के नमूने लिए हैं। उक्त छात्रा के साथ अन्य विद्यार्थियों ने भी एमडीएम का भोजन किया था। यदि एमडीएम में दोष होता तो अन्य बच्चों की भी तबियत खराब हो जाती। विद्यालय के बच्चों से पूछने पर पता चला कि वह बच्ची बेर खायी थी। संभवत: उसी का बीज उसके गले में फंसने से उसकी मौत हो गई होगी। वैसे मामले की गहनता से जांच की जा रही है।
शिवनारायण सिंह, बीएसए